पाक PM शहबाज को नवाज शरीफ ने दी युद्ध से दूर रहने की सलाह
टेकचंद्र सनोडिया शास्त्री: सह-संपादक
नई दिल्ली। भारत और पडोसी देश पाकिस्तान के बीच पहलगाम आतंकी हमले के बाद तनाव बहुत बढ़ गया है। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने भारत के खिलाफ आक्रामक रुख अपनाया है। लेकिन उनके बड़े भाई और पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने उन्हें संयम बरतने की सलाह दी है। नवाज शरीफ चाहते हैं कि दोनों देशों के बीच शांति बहाल हो।
पहलगाम आतंकी हमले के बाद से भारत और पाकिस्तान में तनाव की स्थिति।
दोनों देशों के नेताओं की जुबानी जंग शुरु है।
जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में आतंकी हमले के बाद से भारत और पाकिस्तान में तनाव की स्थिति उत्पन्न हो गई है। इधर, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस हमले में मारे गए लोगों का बदला लेने की बात कही है। तो उधर, पाक में भी हलचल तेज हो गई है।
पाकिस्तान के पीएम शहबाज शरीफ समेत कई नेता भारत के खिलाफ आग उगलने वाले बयान दे चुके हैं, जिसके बाद अब पूर्व पीएम नवाज शरीफ की एंट्री हुई है। जिन्होंने अपने छोटे भाई शहबाज को खास सलाह दी है.कि सिंधु जल संधि टूटने के बाद पाक में हलचल तेज हो गई है.
दरअसल, प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने रविवार को पी एम एल-एन के अध्यक्ष नवाज शरीफ को राष्ट्रीय सुरक्षा समिति (एनएससी) की बैठक में लिए गए निर्णयों के बारे में जानकारी दी है।
यह बैठक कश्मीर के पहलगाम इलाके में आतंकवादी हमला होने के चलते भारत द्वारा सिंधु जल संधि (आईडब्ल्यूटी) के अस्थाई निलंबन के बाद हुई थी।
शहबाज को राजनयिक विकल्प ढूंढने की सलाह
शहबाज शरीफ ने नवाज से उनके पारिवारिक आवास जतिउमरा में मुलाकात की थी। इस दौरान पाकिस्तान के पंजाब की मुख्यमंत्री मरियम नवाज भी मौजूद थीं। शहबाज ने बड़े भाई नवाज को किसी भी मुश्किल स्थिति में सेना की तैयारी के बारे में जानकारी दी है।
द एक्सप्रेस ट्रिब्यून की रिपोर्ट के अनुसार, पीएमएल-एन के एक सूत्र ने बताया कि नवाज शरीफ चाहते हैं कि उनकी सरकार दोनों परमाणु संपन्न देशों के बीच शांति बहाल करने के लिए कदम उठाए। उन्होंने शहबाज को भी सब्र से काम लेने को कहा है। हालकि नवाज शरीफ आक्रामक रुख नहीं अपनाना चाहते थे.
नवाज ने शहबाज को सभी उपलब्ध राजनयिक विकल्पों का उपयोग करने की सलाह दी है। उन्होंने कहा कि नवाज आक्रामक रुख अपनाने के इच्छुक नहीं हैं।
उधर, प्रधानमंत्री शहबाज ने अपने बड़े भाई से कहा कि पहलगाम में आतंकी हमले के बाद आईडब्ल्यूटी को अस्थाई रूप से निलंबित करने के भारत के एकतरफा फैसले ने क्षेत्र में युद्ध के जोखिम को बढ़ा दिया है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान शांति के लिए प्रतिबद्ध है, लेकिन देश की सुरक्षा के साथ कोई समझौता नहीं किया जा सकता है।
रक्षा मंत्री ने चीन-अमेरिका से भी ये अपील की है.
इससे पहले दिन में रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने इस घटना की जांच के लिए अमेरिका, ईरान, चीन, रूस और ब्रिटेन के अधिकारियों सहित एक अंतरराष्ट्रीय आयोग बनाने की पेशकश की है। इसमें कहा गया कि अगर ऐसा होता है, तो पाकिस्तान दुनिया के सामने तथ्य सामने लाएगा।
उन्होंने कहा कि दो परमाणु संपन्न देशों के बीच तनाव पूरी दुनिया की स्थिरता के लिए खतरा पैदा करता है, उन्होंने बढ़ते तनाव का जायजा लेने के लिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय की जरूरत पर जोर दिया।
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