भक्तों को भगवान तक पहुंचने ओखा से बेट द्वारका तक 962 करोड़ की लागत से निर्माणाधीन देश का सबसे लंबा ब्रिज
टेकचंद्र सनोडिया शास्त्री: सह-संपादक रिपोर्ट
भगवान द्वारकाधीश के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं के लिए ब्रिज बन जाने के बाद वाहन से ही दर्शन के लिए जाया जा सकेगा। बेटा द्वारका एक टापू है और चारों ओर समुद्र होने के कारण बोट के जरिए ही द्वारका पहुंचा जा सकता है। लेकिन अब ब्रिज बनाया जा रहा है इसलिए बेट द्वारका के लोगों में राहत महसूस की जा रही है।
गोमती द्वारका से बेट द्वारका तक सिग्नेचर ब्रिज का काम तेजी से चल रहा है। तीर्थक्षेत्र द्वारका के कालिया ठाकुर के दर्शन के लिए भक्तों को समुद्र पार कर बोट के जरिए द्वारका पहुंचना पड़ता है। भक्तों को ओखा से बोट में बैठकर साड़ेचार किलोमीटर का दरिया का अंतर काटकर बेट द्वारका पहुंचना पड़ता है। लेेकिन अब इस समुद्र के बीच 962 करोड़ के खर्च से सिग्नेचर सेतु यानि की सिग्नेचर ब्रिज तैयार किया जा रहा है।
भास्कर की टीम ने इस ब्रिज की मुलाकात लेकर सुपर एक्सक्लुसिव रिपोर्ट तैयार की है। भास्कर की टीम ब्रिज पर पहुंची तब 300 से अधिक इंजिनियर और कामगार वहां काम कर रहे थे। वर्तमान में समुद्र के बीच 11 पिलर तैयार हो गए है। यह ब्रिज भगवान तक पहुंचने में दूसरा रातसेतु बन सकता है। इस संदर्भ में जानकारी देते हुए द्वारका प्रांत अधिकारी निहार भेटारीया ने बताया कि इस सेतुरूपी ब्रिज 962.83 करोड़ रुपए खर्च से अप्रैल 2022 में तैयार हो जाएगा ऐसी संभावना है।
जमीन और दरिया को मिलाकर कुल 4472 मीटर का काम पूर्ण होने जा रहा है।
प्रांत अधिकारी ने बताया कि जमीन और दरिया से होकर 4472 मीटर का काम है। दरिया में कुल 2320 मीटर और जमीन पर 2152 मीटर का काम है। भारत का सबसे लंबा केबल स्टेइड सिग्नेख्र ब्रिज बनाया जा रहा है। हालहीं में इस ब्रिज काम तेजी से चल रहा है।
11 पिलर खड़े किए गए
द्वारका के ओखा से बेट दद्वारका तक समुद्र मेें दरियाई ब्राज क्रेन से 11 पिलर खड़े कर दिए गए है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सितम्बर 2017 में ओखा से बेट द्वारका तक समुद्र का मार्ग भू मार्ग से जोड़ने की घोषणा की थी। जिसके तहत हरियाणा की एक निजी कंस्ट्रक्शन कंपनी को नेशनल हाईवे एथॉरिटी द्वारा काम सौंपा गया है।
कंपनी की ओर से 300 इंजिनियरों की मदद से सिग्नेचर ब्रिज बनाया जा रहा है। ब्रिज में कुल 3 गाला बनाए जाएंगे। जिसमें 500 मीटर लंबाई के और 200 मीटर लंबाई के दो स्पान बनेंगे। ब्रिज की ओखा साइड की लंबाई 1066 मीटर रहेगी और बेट द्वारका बाजू की 1180 मीटर लंबाई रहेगी। सिग्नेचर ब्रिज 27.20 मीटर चौड़ा बनेगा तथा इस ब्रिज में 2.5 मीटर चौड़ाई का फूटपाथ बनाया जाएगा।
हर साल ओखा से बेट द्वारका दर्शन करने के लिए आते हैं 20 लाख श्रद्धालु
द्वांरका में हर साल20 लाख से अधिक श्रद्धालु बेट द्वारका के दर्शन के लिए आते है। इसके अलावा 8 हजार स्थानिय लोगों को ओखा जाने के लिए बोटा का ही सहारा लेना पड़ता है। लेकिन इस ब्रिज के निर्माण होने के बाद अनेक समस्याओं का निराकरण संभव है।
द्वारका दर्शन के लिए श्रद्धालु को के लिए ब्रिज बन जाने के बाद वाहन से ही दर्शन के लिए जाया जा सकेगा। बेटा द्वारका एक टापू है और चारों ओर समुद्र होने के कारण बोट के जरिए ही द्वारका पहुंचा जा सकता है। लेकिन अब ब्रिज बनाया जा रहा है इसलिए बेट द्वारका के लोगों में राहत महसूस की जा रही है।