डोनाल्ड ट्रंप का भविष्य खतरे में! सपना हुआ ध्वस्त
टेकचंद्र शास्त्री: सह-संपादक रिपोर्ट
नई दिल्ली: नॉर्वेजियन नोबेल समिति ने मारिया कोरिना मचाडो को नोबेल शांति पुरस्कार 2025 से सम्मानित करने का फैसला किया है. उन्हें यह पुरस्कार वेनेजुएला के लोगों के लिए लोकतांत्रिक अधिकारों को बढ़ावा देने के उनके अथक कार्य और देश में तानाशाही से लोकतंत्र की ओर न्यायपूर्ण तथा शांतिपूर्ण संक्रमण हासिल करने के उनके संघर्ष के लिए दिया गया है. इस घोषणा के साथ ही, डोनाल्ड ट्रंप की नोबेल पुरस्कार जीतने की उम्मीदों को झटका लगा है, जो पिछले कुछ दिनों से इस दौड़ में अपनी दावेदारी पेश कर रहे थे.
संयुक्त राष्ट्र नोबेल शांति पुरस्कार विजेता मारिया कोरीना मचाडो ने पिछले एक साल से छिपे हुए जीवन जीने को मजबूर होने के बावजूद अपने संघर्ष को जारी रखा. नोबेल कमेटी ने कहा, “उनके जीवन को गंभीर खतरा होने के बावजूद, वह देश में बनी रहीं. उनका यह चुनाव लाखों लोगों को प्रेरित करने वाला है.” नोबेल कमेटी ने मचाडो की बहादुरी की सराहना करते हुए कहा कि जब सत्तावादी ताकतें सत्ता पर कब्जा कर लेती हैं, तो आजादी के साहसी रक्षकों को पहचानना महत्वपूर्ण है जो उठ खड़े होते हैं और विरोध करते हैं. समिति ने कहा, ‘लोकतंत्र उन लोगों पर निर्भर करता है जो चुप रहने से इनकार करते हैं, जो गंभीर जोखिम के बावजूद आगे बढ़ने का साहस करते हैं, और जो हमें याद दिलाते हैं कि स्वतंत्रता को कभी भी हल्के में नहीं लेना चाहिए, बल्कि इसे शब्दों, साहस और दृढ़ संकल्प के साथ हमेशा सुरक्षित रखना चाहिए.माना जा रहा है कि दुनियाभर का सबसे आतंकवाद का ठेकेदार पाकिस्तान की तरफदारी करने वाले अमेरिकन राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रंप नोबल शातिं पुरस्कार का हकदार कैसे हो सकता है.डोनाल्ड ट्रंप की नीति और नियति मे 100% खोट दिखाई दे रहा है.