स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है सुगंधित तंबाखू- सुपारी से निर्मित गुटखा
टेकचंद्र सनोडिया शास्त्री: सह-संपादक रिपोर्ट
नागपुर। तम्बाकू हमारे स्वास्थ्य के लिए अत्याधिक खतरनाक है। गुटखा तम्बाकू उत्पादों में एसीटोन और टार से लेकर निकोटीन और कार्बन मोनोऑक्साइड तक असुरक्षित पदार्थ होते हैं।जो साँस के ज़रिए शरीर में जाने वाले पदार्थ हमारे फेफड़ों और शरीर के दूसरे अंगों को प्रभावित कर सकते हैं। सुगंधित तंबाखू- सुपारी युक्त गुटखा आपके स्वास्थ्य के लिए बहुत ही खतरनाक है। तम्बाकू उत्पादों में एसीटोन और टार से लेकर निकोटीन और कार्बन मोनोऑक्साइड तक असुरक्षित पदार्थ होते हैं। साँस के ज़रिए शरीर में जाने वाले पदार्थ आपके फेफड़ों और शरीर के दूसरे अंगों को प्रभावित कर सकते हैं।
ममहाराष्ट्र के नागपुर शहर और ग्रामीण सहित पूरे विदर्भ के 9 जिलों में गुटखा कारोबारी इतने बेखौफ हो चुके हैं कि सुगंधित सुपारी- तंबाखू के नाम पर अवैध धंधा चला रहे हैं। ताज्जुब यह कि इसके बावजूद विभाग कोई कार्रवाई करने से परहेज कर रहा है। इसका परिणाम है कि हर रोज लाखों रुपये का अवैध कारोबार चल रहा है जिससे राजस्व की हानि के साथ ही लोगों के स्वास्थ्य के साथ भी खिलवाड़ हो रहा है।
जालौन जिला गुटखे के गढ़ के रूप में पहचाना जाता है, लेकिन लगातार आ रहे नियमों की वजह से गुटखे के कारोबार पर असर पड़ा तो गुटखे कारोबारियों ने अब तरीका बदल लिया है। सुगंधित तंबाकू मिश्रित गुटखा बेचने पर रोक है। जाहिर है कि ऐसे में गैर तंबाकू का पान मसाला ही बिक सकता है, लेकिन इस पर भी भारी राजस्व अदा करना पड़ता है। इस कारण गुटखे कारोबारियों ने नया तरीका खोज लिया है। सुगंधित सुपारी के नाम पर यह अवैध कारोबार चल रहा है। सुगंधित तंबाकू मिश्रित गुटखा बाकायदा पाउचों में पैक होकर बाजार में बेचा जा रहा है और इस पर कोई वैधानिक चेतावनी तक नहीं लिखी। सादा पान मसाले पर भी स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होने की चेतावनी लिखी जानी चाहिए। परंतु जब गुटखे के पाउच पर पान मसाला ही न लिखा हो तो ऐसे में न तो कोई चेतावनी लिखनी पड़ेगी और न ही इसके लिए कोई राजस्व अदा करना पड़ेगा। सूत्रों की मानें तो विभागीय अधिकारियों की साठगांठ से यह धंधा चल रहा है। ऐसे में गुटखे कारोबारी तो मालामाल हो रहे हैं पर सरकार और लोगों को चपत लग रही है।
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क्या बोलता है जिम्मेदार विभाग*
इस मामले की जानकारी नहीं है, यह गंभीर मामला है। संबंधित विभागीय अधिकारियों से पूरी जानकारी करके जांच करवाई जाएगी। छापा डालकर अवैध गुटखा बनाने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। अगर किसी अधिकारी, कर्मचारी के लिप्त होने की पुष्टि हुई तो उसके खिलाफ भी कठोर कार्रवाई होगी।